
गुप्त नवरात्रि में माता बगलामुखी की पूजा साधना कैसे करें
माता बगलामुखी कौन हैं ?
माता बगलामुखी दस महाविद्या में से आठवीं महाविद्या हे, इन्हें तंत्र की सबसे बड़ी देवी की उपाधि प्राप्त हे, इन्हें ब्रह्मास्त्र विद्या या पीतांबरा भी कहा जाता हे, इनकी पुजा जाप हवन करने से जातक को सर्व कार्य सिद्धि का आशीर्वाद प्राप्त होता हे, समस्त मनोकामना पूर्ण होती हे,
क्या मां बगलामुखी साधना पुजा के लिए गुरु दीक्षा लेना जरूरी है ?
हा जरूरी हैं,
परन्तु भक्त माता के नाम जाप बिना दीक्षा के भी कर सकता हे,
माता बगलामुखी पूजा के लिए सामग्री क्या होगी ?
पीले पुष्प, हल्दी गांठ, पिला आसान, पीली हल्दी की माला, पीला प्रसाद, पीले वस्त्र, पीले चावल, पीला पीतल का दीपक, एक पीतल का कलश,
कैसे माता बगलामुखी को स्थान देवे ?
सबके पहले चौकी लेवे, उस पर पिला कपड़ा बिछाए, फिर पीले चावल को लगाए, माता की एक फोटो रखें, उस फोटो पर पीली चुनरी ओढ़ाए, माता के फोटो के सामने पीला पीतल का कलश स्थापित करे, कलश में जल भरे, अपने सीधे हाथ पर पिला पीतल का दीपक घी से प्रज्वलित करे, दीपक के नीचे पीले चावल रखें,
बगलामुखी पूजा की थाली में सामग्री क्या रखें ?
शुद्ध जल, पीले पुष्प, हल्दी, कुमकुम, चावल, मेंहदी, पीला धागा,
बगलामुखी माता की प्रसाद भोग क्या है?
बेसन के लड्डू, या पीले कलर का कोई भी प्रसाद हो,
माता बगलामुखी का जाप कैसे करें ?
माता बगलामुखी का जाप हल्दी की पीली माला से करें, पीले आसान पर बैठकर, पीले वस्त्र पहन कर, सीधे हाथ में जल लेकर अपना नाम गोत्र व मनोकामना बोलकर जप संकल्प लेकर जल माता के सामने पात्र में छोड़े, फिर न्यास विनियोग करें, फिर जाप करें,
माता बगलामुखी विनियोग क्या है ?
विनियोग –
अस्य : श्री बगलामुखी मंत्रस्य नारद ऋषये त्रिष्टुप् छन्दसे श्री बगलामुखी देवता ह्लीं बीजम स्वाहा शक्ति प्रणव किलकम श्री बगलामुखी दैवतायै मम मनोकामना सिद्धये हेतु ३६ अक्षर मंत्र न्यासे जपे च विनियोगः
बगलामुखी न्यास करें
हृदयादि न्यास
ऊँ ह्मीं हृदयाय नम: बगलामुखी शिरसे स्वाहा, सर्वदुष्टानां शिरवायै वषट्, वाचं मुखं वदं स्तम्भ्य कवचाय हु, जिह्वां भीलय नेत्रत्रयास वैषट् बुद्धिं विनाशय ह्मीं ऊँ स्वाहा अष्टाय फट्।
बगलामुखी माता का मंत्र क्या हैं ?
छत्तीस अक्षर मंत्र इस प्रकार हे,
- ॐ ह्लीं बगलामुखी सर्वदुष्टानां वाचं मुखं पदं स्तंभय जिह्ववां कीलय बुद्धि विनाशय ह्लीं ॐ स्वाहा।
यदि मंत्र जाप नहीं कर सकते हे तो, माता बगलामुखी चालीसा पाठ भी कर सकते हे,
फिर जाप और पाठ करके अपना नाम गोत्र और मनोकामना बोलकर सीधे हाथ में जल रखकर माता के सामने छोड़े,
फिर अपने आसान के सामने जल छोड़कर प्रणाम करें,